मुड़ के पागा कस माटी हमर आन हे
बस्तर माटी मनुवादी नइ होइस...
ये बात के गुमान हे..
माटी चोरहा मन आए रिहीन चोराय बर
डिही डोंगर ल हमर हथियाय बर
राम नाम के माला जपके
राम ल गांव म हमर निंगाय बर
पुरखौती के हमन प्रकृति पुजारी
हमर पुरखा संस्कृति ल मेटाय बर
माटी खेलइया माटी म बाढ़ेंन
अऊ माटी बर सौंपे प्रान हे
बस्तर माटी मनुवादी नइ होइस
ये बात के गुमान हे.......।।
रेला पाटा के गवइया हमन
रामायण ले नइहे कोन्हो नाता
जेला जानथन तिही ल मानथन
पुरखा हमर बुढ़ा बुढ़ी माता
धरती माटी के सेवा करथन
प्रकृति ले हमर गहरा हे नाता
रूखवा राई डोंगरी पहाड़ी भारी
लोहा सोना बाक्साइट के खदान हे
बस्तर माटी मनुवादी नइ होइस
ये बात के गुमान हे....।।
चेत जाव रे चोरहा हो
अब जागे इंहा लइका सियान हे
अढ़हा नइहे इंहा कोन्हो
पढ़े लिखे सबो सुजान हे
प्रकृति के स्कुल के अनपढ़ हव तुम
माटी के थोरको तुमला नहीं ज्ञान हे
धर्म निरपेक्ष देश म धर्म प्रचार करत हस
प्रस्तावना ल पढ़व संविधान के
अऊ बस्तर माटी मनुवादी नइ होइस
ये बात के गुमान हे...........।।
✍️✍️नयताम हिरेश्वर
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